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पागलपन - Madness


सेगवी और रेमक दोनों बचपन के दोस्त और पड़ोसी भी थे। सेगवी अच्छे से पढ़ाई नहीं करती थी और रेमक पढ़ाई में काफी तेज था। जिसके कारण वह अपने विद्यालय का सबसे होनहार और पढ़ाकू लड़का था। जब सेगवी बोर्ड परीक्षा में कई बार असफल रही। जिसके बाद वह रेमक से काफी चिढ़ने लगी। कुछ सालों बाद भी सेगवी आठवीं में ही रह गई और रेमक ने 12वीं तक की पढ़ाई पूरी कर ली। कुछ दिनों बाद सेगवी पढ़ाई से तंग आकर वह कुछ सोचने लगी। काफी सोचने के बाद सेगवी के दिमाग में एक खुरापाती तरकीब ने जन्म लिया। जो बहुत बड़ा पागलपन सिद्ध होने वाला था। दुसरे दिन सेगवी काले कपड़े पहनकर, अपने चेहरें को काले कपड़े से ढककर और एक असली पिस्टल अलमारी से निकालकर अपने तरकीब को पुरा करने निकल पड़ी। वह पिस्टल उसके पिताजी का‌ था जो एक पुलिस अधिकारी थे। शाम का समय हो रहा था रेमक अपनी साईकिल पर सवार होकर घर लौट रहा था तभी रेमक को रोक्कर सेगवी ने उसपर पिस्टल तान दी। पिस्टल देखकर रेमक का हृदय जोर-जोर से धड़क रहा था सेगवी ने कहा- तुम मुझसे सेक्स करोगे? नहीं तो में गोली चला दुंगी। सेगवी ने पिस्टल की नोक पर उससे सेक्स किया और कुछ समय बाद वह वहां से ऐसे चली गयी मानो कुछ हुआ ही न हो। रेमक घर तो लौटा परंतु उसने शर्म के मारे अपने परिवार वालों को कुछ नहीं बताया कुछ महीनें बाद सेगवी ने फिर से बिना पढ़ाई किये परीक्षा दी परन्तु इस बार भी वह असफल रही। सेगवी ने सोचा था एक बहुत तेज दिमाग और सफल व्यक्ति से सेक्स करूंगी तो मै भी तेज दिमाग वाली और सफल लड़की बन जाऊँगी। सेगवी अब समझ गयी थी कि ज्ञान प्राप्त किये बिना ज्ञानी नहीं बना जा सकता उसका दिमाग तेज तो नहीं हुआ परंतु कंडोम का उपयोग किये बिना सेकस करने के कारण वह गर्भवती जरूर हो गई। जब उसके घरवालों को पता चला तो सेगवी को खूब डाट पड़ी परंतु सेगवी ने अपने द्वारा किए खुरापाती काम को किसी को नहीं बताया। नो महीनें बीत जाने के बद सेगवी ने बच्चे को जन्म दिया। जन्म के कुछ सप्ताह बाद ही उसके घरवालों ने उस बच्चे को ऐसे माता-पिता को सौंप दिया। जिसकी कोई संतान न थी। उसके कुछ दिनों बाद ही जल्दी बाजी में सेगवी की शादी करा दी। सेगवी को अपने गलती पर पछतावा हो चुका था। वह अपने बच्चे के बारे में सचती रहती और सोचते-सोचते कई बार उसकी आँखे नम हो जाती। दुसरी तरफ रेमक ने भी एक पढ़ाकू लड़की से शादी कर ली। रेमक आज भी रात को सोते समय यही सोचता रहता है कि वह लड़की कौन थी और उसने वह क्यों किया?

लघु कहानीकार
पंकज मोदक 

Segwi and Remak were both childhood friends and neighbors as well. Segwi was not a good student and Remak was very quick in studies. Because of which he was the most promising and studious boy in his school. When Segwi failed the board exam so many times. After which she started getting very annoyed with Remak. Even after a few years, Segwi remained in eighth and Remak completed his studies till 12th. After a few days, after getting fed up with Segwi studies, she started thinking. After a lot of thinking, a crazy idea was born in Segwi's mind. Which was going to prove to be very insane. The next day, Segwi dressed in black, covered his face with a black cloth and pulled out a real pistol from the cupboard to carry out his plan. That pistol belonged to his father who was a police officer. It was evening time when Remak was returning home riding his bicycle, when Segwi stopped Remak and pointed a pistol at him. Remak's heart was beating loudly after seeing the pistol. Segwi said - will you have sex with me? Otherwise I will fire. Segwi had sex with her at gunpoint and after some time she left as if nothing had happened. Remak returned home but he didn't tell his family because of shame. After a few months, Segwi again took the exam without studying, but this time also she failed. Segwi had thought that if I had sex with a very sharp minded and successful man, I would also become a sharp minded and successful girl. Segwi now understood that one cannot become wise without acquiring knowledge, her mind did not become sharp but she definitely became pregnant because of having sex without using a condom. When his family members came to know, Segwi was scolded a lot, but Segwi did not tell anyone about the bad work he had done. After nine months, Segwi gave birth to a child. A few weeks after his birth, his family handed over the child to childless parents. A few days later, Segwi got married in a hurry. Segwi had regretted his mistake. She used to think about her child and many times her eyes would become moist thinking about it. On the other hand, Remak also married an educated girl. Even today, while sleeping at night, Remak keeps thinking that who was that girl and why did she do that?

Short story writer
Pankaj Modak 

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अनजान गांव - Unknown Village

सुनिदा जो कुछ दिनों पहले नयी शिक्षिका बनी। उसके खुशी का ठिकाना न था। वह बेहद खुश थी। परंतु वह जिस विद्यालय में नियुक्त हुई। वह शहर से काफी दूर था। दूसरे दिन। वह अपने पिता का आशीर्वाद लेकर निकल ही रही थी कि उसके पिता ने कहा - बेटी कुछ छुट्टे रूपये ले जाओं। तुम्हारे काम आएंगे। सुनिदा ने कहा - पिताजी बाहर किसी से छुट्टे रूपये ले लुंगी। उसके बाद वह घर से बाहर निकल गई। वह बस स्टॉप की ओर बढ़ने लगी। कुछ देर बाद वह बस स्टॉप के पास पहुंची। उसने बस पकड़ी और विद्यालय की ओर चल पड़ी। उस विद्यालय के पहले एक अनजान गांव पड़ता हैं। जब सुनिदा ने विद्यालय का नाम स्मार्टफोन के नक्शे पर सर्च किया तो वह आ गया। परंतु विद्यालय से थोड़ी दूर पर स्थित उस अनजान गांव के बारे में नक्शे पर कोई जानकारी उपलब्ध नहीं थी या शायद किसी ने जानकारी नहीं छोड़ी थी। यह देखकर उसे थोड़ा आश्चर्य हुआ। कुछ घण्टे बाद वह बस उस गांव से गुजरने लगीं। सुनिदा ने खिड़की से बाहर झांककर देखा तो उसे थोड़ी घबराहट हुई। उस गांव में कोई दुकान न थी। बाहर बैठे लोग सुनिदा को ही देखें जा रहे थे। जैसै- उन लोगों की नजरें सिर्फ़ सुनिदा पर ही टिकी हुई हो।

कपूर का प्रभाव - Effect Of Camphor

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विलुप्त जीव - Extinct Creatures

पृथ्वी पर हरियाली छाई हुई थी। रोज की तरह लोग अपने‌ काम में जा रहे थे, आ रहे थे। एक दिन प्रसिद्ध विज्ञान संस्था ने एक रिपोर्ट जारी की। जिसमें लिखा था - पेड़ों की संख्या हर वर्ष कम होती जा रही है। जिससे ओजोन परत की क्षति, वायू प्रदूषण और ग्लोबल वार्मिंग की समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं। इसलिए आपसे अनुरोध है कि पेड़ अधिक से अधिक लगाएं और मनुष्य जीवन को बचाएं। इस रिपोर्ट को पढ़ने के बाद बहुत लोगों ने इसे झूठ समझकर भूल गए, तो कुछ लोगों ने इसे सच मानकर थोड़े डर गए। कुछ दिनों बाद एक व्यक्ति अपनी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का उपयोग कर रहा था। उसने वह रिपोर्ट पढ़ी। उसने मनुष्य जीवन की अच्छाई के लिए कुछ करने की सोची। वह प्रतिदिन एक पेड़ को रोपता। पानी देता और उस पौधे को देखकर उसका मन खुशी से खिल उठता। वह वर्ष में एक बार जगह-जगह जाकर पर्यावरण को बढ़ावा देने, वायू प्रदूषण, ध्वनि प्रदूषण और जल प्रदूषण को कम करने, पॉलीथिन बैग का इस्तेमाल कम करने के बारे में लोगों को जागरूक करने की कोशिश करता। एक रात उस व्यक्ति के मन में एक ख्याल आया कि क्यों न चिड़ियाघरों में पिंजरों में बंद जीव-जंतुओं को आजाद किया जाए। ज